वाराणसी: गौहत्यारी पार्टियों को वोट देकर गौहत्या का पाप न लें हिन्दू: शङ्कराचार्य अविमुक्तेश्वरानन्द सरस्वती
अमिय पाण्डेय ,
Feb 26, 2024, 17:41 pm IST
Keywords: Varanasi swami ji Avimuketshwaranand Saraswati अविमुक्तेश्वरानंद जी महाराज अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती वाराणसी स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती गौ हत्या पाप है
वाराणसी: सनातन धर्म में गोहत्या महापाप है । गोहत्या करने वाले को समर्थन देने वाले को भी यह पाप लगता है। इसलिये सत्ता में आकर गोहत्या करने वाले राजनीतिक दलों को मत देकर उन्हें सत्ता में लाने वाले मतदाताओं को भी गोहत्या का पाप लग रहा है। हिन्दुओं को इससे बचने और अपने मताधिकार का सही प्रयोग करने की आवश्यकता है।
उक्त बातें परमाराध्य परमधर्माधीश ज्योतिष्पीठाधीश्वर जगद्गुरु शङ्कराचार्य स्वामिश्रीः अविमुक्तेश्वरानन्द: सरस्वती '१००८' ने आज काशी के केदारघाट स्थित ज्योतिर्मठ शङ्कराचार्य सचिवालय में आयोजित एक प्रेसवार्ता में कही।
परमाराध्य ने आगे कहा कि हमारे शास्त्र हमें बताते हैं कि गौमाता सर्वदेवमयी है। इनकी पूजा करने से ३३ करोड देवी-देवताओं की पूजा एक साथ हो जाती है। इनका स्थान सर्वोपरि है।तभी तो सनातन धर्म में देवता और गुरु के लिए नहीं, अपितु गौमाता के लिए पहली रोटी (गौ-ग्रास) निकालने का नियम है। हमारे देश का यह भी गौरवपूर्ण इतिहास रहा है कि चक्रवर्ती सम्राट् दिलीप और भगवान् राम कृष्ण आदि ने भी गौसेवा की है। परन्तु बहुसंख्यक गौ-पूजक सनातनियों के इस देश में आज गौमाता की हत्या हो रही है जो हम सबके लिए कलंक है। इसी कलंक को भारत की भूमि से मिटाने के लिए पूर्व में भी अनेक सन्तों ने धर्मसम्राट् स्वामी श्री करपात्री जी महाराज एवं शङ्कराचार्यों के नेतृत्व में गौरक्षा आन्दोलन किया था। तब से अब तक अनेक सरकारें आईं पर किसी ने भी गौहत्या बन्दी की उद्घोषणा नहीं की बल्कि मुग़लों, आक्रमणकारियों और अंग्रेजों द्वारा की जा रही गो हत्या को बढ़ावा देती रहीं। अब जब देश में आजादी का अमृत महोत्सव मनाया जा रहा है और रामजी के आने की बात कही जा रही है तब भी अमृत (दूध) देने वाली गोमाता की हत्या होती रहे तो यह सरासर अन्याय है और आम हिन्दू मतदाताओं को पाप में डालने वाला काम है जिसे किसी भी दशा में रोका जाना चाहिए।
इसीलिए हम सब हिन्दू सनातनी चाहते हैं कि भारत में गोहत्या को दण्डनीय अपराध माना जाए और गोमाता को पशुसूची से निकालकर राष्ट्रमाता का सम्मान दिया जाए।
जिस प्रकार देश में राष्ट्र ध्वज, राष्ट्रीय पक्षी आदि को संविधान में सम्मान प्राप्त है वैसे ही गौमाता को भी राष्ट्र माता का सम्मान प्राप्त हो क्योंकि हमारे शास्त्रों में *पशवो न गावः* कहकर उन्हें पशु मानने का निषेध किया है और उनके लिये विश्वमाता कहकर सम्मानित किया है।
यहाँ यह उल्लेखनीय है कि जब हम गौ कहते हैं तो इसका तात्पर्य शुद्ध देशी नस्ल की असंकरीकृत गो से है जिसकी सास्ना और ककुद होती है। जर्सी और अन्य संकरीकृत को हम सनातनी गो नहीं मानते। शुद्ध देसी गो को हमने *रामा गो* नाम दिया है और इनको ही राष्ट्रमाता घोषित करने की माँग कर रहे हैं।
*करे जो गो माता पर चोट कैसे दें हम उसको वोट?*
हमारा धर्म हमें यह भी सिखाता है कि यदि हम गलत करने वाले का समर्थन करते हैं तो हमें भी उस गलत कार्य को करने का पाप भोगना पडता है। यदि कोई सरकार गौहत्या कर रही हो और हम उसे वोट देकर अपना समर्थन देते हैं तो उसके द्वारा किए जा रहे गोहत्या का पाप भी हमें लगेगा। इसीलिए हम गोभक्त सनातनी हिन्दुओं से यह कहना चाहते हैं कि आप गोहत्यारी पार्टियों को अपना अमूल्य वोट देकर गोहत्या के महापाप के भागी न बनें। आगामी चुनाव में कौन सी पार्टी सत्ता में आएगी यह अभी से नहीं कहा जा सकता। इसलिए आप सब यह स्पष्ट निर्णय कर लें कि जिस भी पार्टी की सरकार बने उसे शपथ ग्रहण करते ही सबसे पहला कार्य गोहत्या बन्द कराकर गौ को राष्ट्र माता घोषित करने का करना होगा। आपके द्वार पर जो भी वोट लेने आए उनसे आप यह कह सकते हैं कि गो हत्या न करने का शपथ-पत्र लिखित रूप से देने पर ही वोट दिया जाएगा ताकि आपको स्वयं गोहत्या का पाप न लगे।
*हम स्वयं करेंगे गौरक्षा संकल्प पदयात्रा और दिलायेंगे संकल्प*
गोमाता को राष्ट्र माता घोषित कराने के लिए हम स्वयं आगामी 14 फरवरी 2024 को वृन्दावन से दिल्ली तक की पदयात्रा करेंगे। यह यात्रा गोवर्धन परिक्रमा से आरम्भ होगी और वर्ष 1966 में जहाँ गोभक्तों पर गोली चली थी संसद भवन दिल्ली के उस स्थान पर जाकर रामा गो की रक्षा करने के संकल्प के साथ पूर्ण होगी। मार्ग में सभी राजनीतिक दलों को अवसर होगा कि वे यात्रा में सम्मिलित होकर गोरक्षा का संकल्प लें और उद्घोषणा करें।
*एनडीए और इण्डिया की तर्ज़ पर गो-गठबन्धन*
जो पार्टियाॅ भारत की भूमि से गो हत्या बन्द करने का शपथ-पत्र देंगी वे पार्टियाॅ इस यात्रा में सम्मिलित होकर अपना शपथ-पत्र दे सकती हैं। जो भी राजनीतिक दल इस प्रकार का शपथ-पत्र देकर भारत से गोहत्या बन्द कराने की स्पष्ट घोषणा करेगा हम उस दल को गो-गठबन्धन का अंग मानकर मतदान करने के लिए सनातनी हिन्दू समाज से अपील करेंगे क्योंकि ऐसे दल को वोट देने से कम से कम गोहत्या का पाप तो हम और आप सब हिन्दुओ को न लगेगा।
दस-दस-दस ।
गोहत्या अब बस* *नारे के साथ 10 मार्च को भारतबन्द*
अब बहुत समय बीत चुका है। भारत से गोहत्या बन्द करने के लिए आप सबको आगे आना है। इसके लिए आगामी 10 मार्च को पूर्वाह्न 10 बजे केवल 10 मिनट के लिए अपने-अपने घर, कार्यालय अथवा प्रतिष्ठान के बाहर निकलकर गोमाता के प्रति अपने हृदय की भावना को व्यक्त करेंगे । पूरे देश में यह बन्दी रखकर गोरक्षा का सन्देश देना है।
2100 गोदूत करेंगे पञ्जीकृत राजनीतिक दलों के अध्यक्षों से सम्पर्क
हमारे 2100 समर्पित गोदूत पञ्जीकृत राजनीतिक दलों के अध्यक्षों से सीधे सम्पर्क कर उन्हें गो-गठबन्धन में आने का अनुरोध करेंगे। |
क्या आप कोरोना संकट में केंद्र व राज्य सरकारों की कोशिशों से संतुष्ट हैं? |
|
हां
|
|
नहीं
|
|
बताना मुश्किल
|
|
|