800 पाउंड देकर कॉलेज पर लिखवाया अपना नाम?
जनता जनार्दन संवाददाता ,
Feb 19, 2024, 12:31 pm IST
Keywords: Ivy League Yale University Slavery History अमेरिका की येल यूनिवर्सिटी
येल यूनिवर्सिटी की बुनियाद हजारों-लाखों गुलामों का खून चूसकर खड़ी की गई. आज दुनिया की टॉप यूनिवर्सिटीज में शुमार येल को उसका नाम मिला था भारतीयों का खून चूसने वाले एक गोरे से. उसका नाम था एलिहू येल. येल को ईस्ट इंडिया कंपनी ने भारत में अपनी जड़ें जमाने के बाद, मद्रास का 'प्रेसिडेंट' बनाकर भेजा था. येल की सनक का अंदाजा इस बात से लगाइए कि एक बार उसके अस्तबल में काम करने वाला लड़का घोड़े संग भाग गया. हाथ लगते ही येल ने उसे फांसी पर लटका दिया था. मद्रास का गवर्नर रहते हुए येल ने भारतीयों का खून चूस-चूसकर खूब काली कमाई की. उसी कमाई का एक हिस्सा, महज 800 पाउंड, उसने अमेरिका को भेजा. मकसद का एक इमारत के साथ अपना नाम जुड़वाना. वो इमारत जो आगे चलकर येल कॉलेज बनी और आखिरकार येल यूनिवर्सिटी. आज यूनिवर्सिटी को शर्मिंदगी महसूस होती है कि उसकी स्थापना में कुछ ऐसे लोग शामिल रहे जिन्होंने इंसानों को भेड़-बकरियों की तरह खरीदा और बेचा. यूनिवर्सिटी ने करीब तीन सदी बाद, दासता से उस जुड़ाव के लिए माफी मांगी है. शुक्रवार को एक बयान में येल यूनिवर्सिटी ने कहा, 'हम दासता में अपने विश्वविद्यालय की ऐतिहासिक भूमिका और उसके साथ संबंधों को स्वीकार करते हैं, साथ ही साथ हमारे विश्वविद्यालय के इतिहास में गुलाम लोगों के श्रम, अनुभव और योगदान को पहचानते हैं, और हमारे शुरुआती इतिहास के दौरान येल के नेताओं के गुलामी में भागीदार होने के लिए माफी मांगते हैं. किताब यह साफ नहीं बताती कि येल ने कितने लोगों को गुलाम बना रखा था. लेकिन यह जरूर कहती है कि येल ने इंसानों की खरीद-फरोख्त के जरिए काफी कमाई की, इसमें कोई शक नहीं. येल के गवर्नर रहने के दौरान, मद्रास में दास प्रथा खूब फली-फूली. एलिहू येल इसमें सीधे तौर पर शामिल था या नहीं, इतिहासकारों की राय इस पर जुदा है. कुछ इनकार करते हैं कि वह गुलामों का धंधा करता था. कुछ लिखते हैं कि गवर्नर येल ने ऐसा कानून बनाया कि यूरोप जाने वाले हर जहाज पर कम से कम दस गुलामों को ले जाने की इजाजत मिल गई. बॉस्टन में जहां येल यूनिवर्सिटी का जन्म हुआ, उसके पास एक शिलालेख है. उस पर लिखा है, 'इस जगह से 255 फीट उत्तर में, पेम्बर्टन पहाड़ी पर, 5 अप्रैल 1649 को मद्रास के गवर्नर एलिहू येल का जन्म हुआ था, जिनका स्थायी स्मारक वह कॉलेज है जो उनके नाम पर है. |
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