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मुम्बई का कपड़ा मजदूर यों बना घाना का सर्वश्रेष्ठ किसान

जनता जनार्दन संवाददाता , Jul 17, 2011, 15:13 pm IST
Keywords: Mumbai   Textile worker   Harchavari Singh Cheema   celebrated farmer   Most successful    Indians   Ghana   हर्चावरी सिंह चीमा   मुम्बई    कपड़ा मजदूर   सफलतम कारोबारियों   भारतीय मूल   घाना   
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मुम्बई का कपड़ा मजदूर यों बना घाना का सर्वश्रेष्ठ किसान आक्रा (घाना): मन में कुछ करने का जज्बा हो, कुछ हासिल करने की लगन , तो मुश्किलें आपको परेशान तो कर सकती हैं, पर आपके सफलता की राह नहीं रोक सकतीं. देशवासी न जानें ऐसी -ऐसी मिसालें कहां-कहां लिख रहे हैं. अब हर्चावरी सिंह चीमा को ही लें तो वह कभी मुम्बई में कपड़ा मजदूर थे, पर आज घाना के प्रसिद्ध किसान और भारतीय मूल के सफलतम कारोबारियों में से हैं। घाना में चीमा 40 वर्ष पहले आए थे।

घाना की कुल आबादी 2.4 करोड़ है और इसे कोको के उत्पादन के लिए जाना जाता है। यहां से 64 वर्षीय चीमा हर वर्ष 120 टन सब्जियों का निर्यात करते हैं।

चीमा ने कहा, "ग्लैमर सुपर स्टोर श्रृंखला में प्रबंधक के रूप में काम करने के लिए मैं 1972 में यहां आया। लेकिन अर्थव्यवस्था में मंदी की वजह से यह स्टोर बंद गया और मुझे कुछ अपना काम करने के लिए बाध्य होना पड़ा।"

पंजाब के अमृतसर से संबंधित चीमा ने कहा कि उन्होंने मुर्गी पालन शुरू किया। लेकिन वह भी बंद हो गया। इसके बाद उन्होंने राजधानी आक्रा के नजदीक कपड़ा बनाने की इकाई लगाई। लेकिन आर्थिक उदारीकरण के कारण वह भी बंद हो गई।

उन्होंने आगे कहा, "कृषक परिवार से संबंधित होने के कारण अब खेती के अलावा कोई अन्य उपाय सामने नहीं बचा था। तब मैंने यूरोप को निर्यात करने के लिए 25 अलग प्रकार की एशियाई सब्जियों की खेती करने का फैसला किया।"

चीमा को घाना के राष्ट्रपति से दो बार 2004 और 2006 में उत्कृष्ट किसान का पुरस्कार मिल चुका है।

यह पूछे जाने पर कि स्टोर श्रंखला बंद हो जाने पर उन्होंने इस देश में ही रहने का फैसला क्यों किया, उन्होंने कहा, "घाना रहने के लिए अच्छी जगह है। मेरे बच्चे स्कूल जा रहे थे। यहां से जाने पर पढ़ाई प्रभावित होती।"

चीमा ने कहा कि घाना काम करने के लिए अच्छी जगह है। यहां के लोग अच्छे हैं। अगर आप अपने कर्मचारियों को उचित वेतन दे रहे हैं और करों का भुगतान कर रहे हैं, तो आप को यहां कोई समस्या नहीं आएगी।

उन्होंने कहा कि उनकी सफलता को देखकर कई भारतीय निवेशकों ने यहां व्यवसाय स्थापित करने के लिए उनसे सहायता मांगी है।

अभी चीमा और निवेशकों का एक समूह आक्रा के नजदीक टेमा में पैकेजिंग कंपनी की स्थापना के लिए काम कर रहा है।
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